Musalman दुनिया से kyu khatam हो rahe? | उम्मत किसे कहते हैं? – Dawat-e-Tabligh

इमाम के पीछे नमाज़ पढ़ने का सही तरीका - Dawat-e-Tabligh

भलाई की तरफ़ बुलाना और हर बुराई और हर फ़साद से रोकना । जुबान दिलों को जोड़ती है, गीवत किसे कहते हैं ? Musalman दुनिया से kyu khatam हो rahe? | उम्मत किसे कहते हैं? – Dawat-e-Tabligh

Hazaratji Molana Yousuf का intekal | आख़िरी सफ़र | Dawat-e-Tabligh

Hazaratji Molana Yousuf का intekal | आख़िरी सफ़र | Dawat-e-Tabligh

काम की बरकत, 70 जमाअतें निकलीं , उम्मत कैसे बनी?, जमाअत लेकर जाओ। , दिल की हरकत, Oxygen का इन्तिज़ाम , Hazaratji Molana Yousuf का intekal | आख़िरी सफ़र | Dawat-e-Tabligh

तास्सुरात (कविता)| Hazratji Molana Yousuf| Dawat-e-Tabligh

दीन का रंग भरा जिंदगियों में तूने, काम पूरा किया सदियों का दिनों में तूने । एक दुनिया तेरी आवाज़ से बेदार हुई, हर कठिन राह तेरी सई से हमवार हुई ।….. तास्सुरात

तारीख़े विसाल (कविता)|Hazratji Molana Yousuf| Dawat-e-Tabligh

उस रास्ते में जान भी दे दी ज़हे कमाल, वारिद हुआ वह क़ल्वे हज़ीने नफ़ीस पर ‘रासे मुबल्लिग़ां’ है तेरा साले इंतिक़ाल ।….. तारीख़े विसाल – सैयद नफ़ीसुल हुसैनी ऐ नूरे ऐन हज़रते इलयास देहलवी ! ऐ यूसुफ़े ज़माना व ऐ साहिबे जमाल, इस्लाम का नमूना तेरी ज़िंदगी रही, ला रैब तेरी ज्ञात थी रोशनतरीं … Read more

Hazratji Maulana Yousuf कि जिंदगी |मक्तूबे गिरामी| Dawat-e-Tabligh

इसके बाद मरहूम ने हवाई जहाज से वह उड़ान भरी कि वह आसमान पर पहुंच गया और यह नाकारा ज़मीन पर ही पड़ा हुआ.. परिचय हज़रत मौलाना शाह मुहम्मद यूसुफ़ साहब कुद्दिस सिह के बारे में सैयदुल औलिया हज़रत शेखुल हदीस मौलाना मुहम्मद जकरिया साहब मद्दजिल्लहू का मक्तूबे गिरामी। बनाम एडीटर साहब रिसाला ख़ुद्दामुद्दीन लाहौर … Read more

Allah पर याकीन| नमाज (Namaz) की फ़ज़ीलत (benefits)|Hazratji Molana Yousuf| Dawat-e-Tabligh

‘हमारे रब अल्लाह (Allah) हैं’ तो बात ख़त्म न हुई, बल्कि यहां से शुरू हुई कि जब अल्लाह पालने वाले हैं, तो ग़ैरों से पलने का यक़ीन निकालो। परिचय  हजरते अक़्स मौलाना शाह मुहम्मद यूसुफ़ साहब नव्वरल्लाहु मरक़दहू की आखिरी तक़रीर कतवा यके अज्ञ रफ़ीक़े सफ़र, तारीख़ 29 जीक़ादा सन् 1384 हिजरी मुताबिक़ पहली अप्रैल … Read more

नौहा-ए-ग़म (कविता) |Hazratji Molana Yousuf| Dawat-e-Tabligh

दुआ ki Kavita Web Stories- Dawat~e~Tabligh

वह बेकसी है कि आंसू भी ख़ुश्क हैं शाकिर, ग़मों ने अरसा-ए-वहशत में ला के छोड़ दिया।…. नौहा-ए-ग़म

Hazratji Maulana Yousuf  ताज़ियतनामा| Dawat-e-Tabligh

Hazratji Maulana Yousuf ताज़ियतनामा, इसे उन्होंने बरक़रार ही नहीं रखा, बल्कि इसमें और चार चांद लगा दिए थे।….  ताज़ियतनामा – मौलाना अब्दुल माजिद दरियाबादी, एडीटर ‘सिदके जदीद’         शेखुत्तब्लीग़ मौलाना मुहम्मद यूसुफ़ कांधलवी सुम-म देहलवी की शख्सियत हिन्दुस्तानगीर (ओल इंडिया) सी नहीं रही थी, ओल वर्ल्ड (आफ़ाक़गीर) हो चुकी थी। बर्मा, जापान … Read more

सिल-ए-रहमी – Rista निभाने से क्या फ़ायदा होता है ? Kin लोगो se kabar में सवाल नहीं होगा ? Part-1 Kin लोगो se kabar में सवाल नहीं होगा ? Part-2 जलने वालों से कैसे बचे ? Dil naram karne ka wazifa